शेरडी के बाबा
शेरडी के बाबा
ताः१०/८/२००९ प्रदीप ब्रह्मभट्ट
शेरडी वाले बाबा तुम घर मेरे आ जाना
भक्ति प्रेमकी ज्योतसे, घरको पावन करना.
………..शेरडी वाले बाबा तुम.
दर्शन करने तरसे ये मन प्रेम तुम्हारा है पाना
द्रष्टि प्रेमकी करके जीवनको भी उज्वळ करना
हरपल दीलकी लगनको आके पुरण कर जाना
महेंके ये मानव जीवन मेरा भक्ति सागर पाकर
………..शेरडी वाले बाबा तुम.
बाबा तुमने भक्ति दी ओर प्यार भरा ये जीवन
द्रष्टि प्रेमकी मुझपे करके कीया भक्तिका सन्मान
पाकर प्यार तुम्हारा बाबा ना रहे बाकी अरमान
पावन जीवन पावन भक्ति ओर पाया पावनप्रेम
……….शेरडी वाले बाबा तुम.
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