आया ह्युस्टन
आया ह्युस्टन
ताः२१/४/२०१० प्रदीप ब्रह्मभट्ट
मुझे प्यार मीला है जबसे,मैं खुश रहेता हु तबसे
आया ह्युस्टन जबसे,मुझे खुशी मीलती पल पलसे
……….मुझे प्यार मीला है जबसे.
लीखता था मै तबसे,जब पढता था आणंद स्कुलमे
मुझे यार मीले संगीतके,जो नालढोल बजाते दीलसे
गाना मेरा शोख था,पर लीखना माताकी असीमकृपा
कीतने सालोसे मै लीखता हु,जो भक्ति प्रेमकी कृपा
……….मुझे प्यार मीला है जबसे.
मुझे चारोऔरसे प्यारमीला,गुजराती समाजका सहवास
हाथ पकड लीया विजयभाइने,साहित्य सरीताके साथ
आयाथा अकेला कुटुंबकेसाथ,मिला हमे बहुतोका प्यार
जीवनकी ना पहेंचान है,पर रख जाउगा माताका ज्ञान
……….मुझे प्यार मीला है जबसे.
॔॔॔॔॔॔॔॔॔॔॔॔॔॔॔॔॔॔॔॔॔॔॔॔॔॔॔॔॔॔॔॔॔॔॔॔॔॔॔